अगर खुद निवेश कर रहे हैं

शेयरों में निवेश करने से पहले ध्यान में रखने योग्य बातें
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शेयर बाजार में निवेश अब एक जटिल या अत्यधिक मांग वाली गतिविधि नहीं है। डिजिटल होने के कदम ने नए लोगों के लिए ट्रेडिंग को आसान और पेशेवर निवेशकों के लिए ट्रेडिंग को सक्षम किया है। डीमैट खाता और ट्रेडिंग खाता व्यवस्थित करना 20 मिनट का कार्य है, जो आपको भारत और विदेशों में ऑनलाइन शेयर बाजार तक पहुंच प्रदान करते हैं। शेयरों में निवेश करने में आसानी के बावजूद, वित्तीय बाजारों में निवेश करने में डुबकी लगाने से पहले आपको कुछ चीजें याद रखना चाहिए।
वित्तीय लक्ष्य निर्धारित करें
निवेश शुरू करने से पहले वित्तीय लक्ष्यों को निर्धारित करना बेहद महत्वपूर्ण है।आप अपने पैसे कैसे खर्च करना चाहते हैं और आपको कितनी बचत करने की जरूरत हैं, इस पर एक उचित योजना के बिना निवेश एक उद्देश्यहीन मेहनत है। आप सोच सकते हैं कि अपने वित्तीय लक्ष्यों की प्रतीक्षा करने में,अपने पैसे को अपने बचत खाते में बेकार रखे रहने के बजाय शेयर बाजार में निवेश करना बेहतर है, ताकि आप अपने वित्तीय लक्ष्यों को तैयार कर सकें। लेकिन स्टॉक निवेश के अवसरों की व्यापक विविधता के साथ, यदि आप क्षितिज पर कुछ व्यापक वित्तीय लक्ष्यों को निर्धारित नहीं करते हैं तो आपको यह नहीं पता होगा कि कब प्रवेश करें या कब बाहर निकलें।वित्तीय लक्ष्य आपको यह निर्धारित करने में सहायता करते हैं कि आपको कितने समय तक और कितना निवेश करने की आवश्यकता है। यह आपको उस निवेश रणनीति को भी सूचित करता है जो आपके पैसे को बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण है। जिन कंपनियों और शेयरों में आप निवेश करना चुनते हैं, वे स्पष्ट वित्तीय लक्ष्यों के उप-उत्पाद हैं।
आप किस तरह के निवेशक हैं?
शेयर बाजार में बिना एक रुपए का निवेश किए यह पता लगाना मुश्किल है कि आप किस तरह के निवेशक हैं। लेकिन यहां कुछ प्रश्न हैं जो आप निवेश करने से पहले खुद से पूछ सकते हैं:
- क्या आप मूल्य या विकास से प्रेरित होते हैं
मूल्य निवेशक
मूल्य निवेशक( Value investors ) निवेशकों का वह प्रकार हैं जो ऐसी कंपनियों के शेयरों में निवेश करते हैं, जिनके बारे में उनका मानना होता है कि ये अपने काम के कारण बहुत ही मूल्यवान हैं।वे इन शेयरों में निवेश करते हैं क्योंकि उन्होंने कंपनी का संपूर्ण वित्तीय विश्लेषण किया होता है – राजस्व, नकदी प्रवाह, लाभ, ऐतिहासिक प्रदर्शन और स्टॉक का ऊपर जाना या फिर जब यह अपने बुक मूल्य या वास्तविक मूल्य से नीचे ट्रेड कर रहा हो। इसका कारण यह है कि मूल्य निवेशक अच्छी ठोस बुनियादी बातों वाली कंपनियों की तलाश में होते हैं, क्योंकि वे शर्त लगाते हैं कि लंबे समय इनका प्रदर्शन बहुत अच्छा होगा। फिर, वे इस तरह के शेयरों की कीमत उनकी वास्तविक कीमत से नीचे गिरने का इंतजार करते हैं और उन्हें जल्दी से चुन लेते हैं और उन्हें तब तक होल्ड करके रखते हैं, जब तक कि ये उनके दिमाग में मौजूद मूल्य को न छू लें।
मूल्य निवेश के पीछे तर्क यह है कि जब आप स्टॉक के सच्चे और आंतरिक मूल्य का निर्धारण करते हैं और इसे रियायती मूल्य पर खरीदते हैं, तो यदि स्टॉक नकारात्मक पक्ष पर आपकी अपेक्षा के अनुसार काम नहीं करता है, तो आपके पैसे खोने की संभावना कम होती है।लेकिन सकारात्मक पक्ष की बात करें तो, न केवल शेयर वापस अपने वास्तविक मूल्य पर आ जाएंगे बल्कि वास्तविक मूल्य पर वृद्धिशील वृद्धि का अर्थ है कि आपको अपने निवेश बहुत अधिक कमाई भी होगी। एक नवोदित मूल्य निवेशक के रूप में, आप बिग-कैप कंपनियों के शेयरों को देख सकते हैं और उन्हें खरीदने से पहले उनकी कीमतों में गिरावट का इंतजार कर सकते हैं।
विकास निवेशक( Growth Investors ), मूल्य निवेशकों के विपरीत, अधिक आक्रामक हैं।विकास आधारित निवेश पूंजी अधिमूल्यन पर केंद्रित है और नई कंपनियों को उनके विकास के चरण में लक्षित करते हैं। विकास निवेशक कंपनियों की क्षमता में निवेश कर रहे हैं, और जब भी ऐसे निवेश लाभ प्रदान करते हैं तो बड़ा लाभ प्रदान करते हैं। लेकिन अगर कंपनी अपनी पूरी क्षमता को अनलॉक नहीं करती है, तो आप अपनी निवेश की गई मूल राशि भी खो सकते हैं।
- आपकी जोखिम भूख क्या है?
हालांकि,हम विकास निवेश के विषय पर हैं, यह अपनी जोखिम भूख का मूल्यांकन करने के लिए एक अच्छा समय है। आप कितना पैसा बनाना चाहते हैं और इसे बनाने के लिए आप कितना पैसा खोने के लिए तैयार हैं। निवेश करने से पहले अपनी जोखिम की भूख को समझना, आपको यह पता लगाने में मदद करेगा कि आप किस प्रकार की कंपनियों और वित्तीय साधनों में निवेश करना चाहते हैं।जबकि कोई भी यह सिफारिश नहीं करता है कि आप केवल एक ही प्रकार की सुरक्षा में निवेश करें, इस बात पर निर्भर करते हुए कि आप कितना सुरक्षित या आक्रामक बनना चाहते हैं, इस पर निर्भर करते हुए आप अपनी अधिक से अधिक बचत को किसी भी प्रकार की प्रतिभूति में निवेशित कर सकते हैं।
यदि आप बेहद सुरक्षित अल्पकालिक निवेश और लिक्विडिटी की तलाश में हैं, तो ऋण उपकरण अच्छा चुनाव मार्ग है। यदि आप लंबे समय तक निवेश करने की योजना अगर खुद निवेश कर रहे हैं बनाते हैं और घर खरीदने के लिए पैसे बचा रहे हैं (वित्तीय लक्ष्य!) तो इक्विटी आधारित म्यूचुअल फंड, सुरक्षित स्टॉक विकल्प, गोल्ड आदि आपकी आवश्यकताओं के अनुकूल हैं। पूंजी और वित्त बाजार में पृष्ठभूमि के साथ एक गहरी नजर वाले, चतुर निवेशक के लिए डे-ट्रेडिंग और एफएंडओ( F&Os ) तथा कमोडिटी में ट्रेडिंग उसकी विशेषज्ञता को लागू करने और इससे लाभ कमाने के लिए सबसे अधिक अवसर प्रदान करेगा।
निवेश शुरू करने में कभी देर नहीं होती है, लेकिन आपकी उम्र यह निर्धारित करती है कि आपको अपने पोर्टफोलियो को विभिन्न परिसंपत्ति वर्गों में कितना जोखिम देना चाहिए। अनुभव पर आधारित एक नियम का वर्णन किया जाता है, जो निर्धारित करता है कि आपकी उम्र को 100 से घटाकर प्राप्त होने वाली संख्या वह राशि है जिसे आपको शेयर बाजार में इक्विटी में रखना चाहिए।आपकी उम्र जितनी कम होगी, आपके निवेश को अपनी पूरी क्षमता के लिए परिपक्व होने के अगर खुद निवेश कर रहे हैं लिए उतना ही अधिक समय होगा। जैसे-जैसे आपकी आयु बढ़ती जाती है, अपने लिए निर्धारित किए गए वित्तीय लक्ष्यों पर पहुंचने के बाद और जल्दी बाहर निकलने की इच्छा से आप अपनी बचत को सुरक्षित, अल्पकालिक उपकरणों में रख सकते हैं।
- आप एक लंबी अवधि के निवेशक हैं, एक ट्रेडर हैं, या फिर दोनों?
आप कब तक निवेशित रहना चाहते हैं और क्या आप ट्रेडिंग करना चाहते हैं, यह आपके वित्तीय साधनों और आकांक्षाओं का परिणाम होता है।डे ट्रेडिंग, मध्यस्थता ट्रेडिंग, पेशेवर निवेशक,विदेश में स्टॉक में निवेश,पेशेवर निवेशकों,हेज फंड प्रबंधकों और वित्तीय संस्थानों के क्षेत्र हैं। समय के साथ, आप स्वयं की विशेषज्ञता का निर्माण कर सकते हैं।लेकिन अगर आप एक उत्सुक शिक्षार्थी हैं और प्रयोग करने के लिए आपके पास लिक्विडिटी है तो आप डे ट्रेडिंग का भी प्रयास कर सकते हैं।अनुसंधान, हालांकि अभी भी शेयर बाजार में किसी भी प्रकार के निवेश के लिए पूर्व पूर्वनर्धारित शर्त बना हुआ है – यहां तक कि डे ट्रेडिंग में भी। लोकप्रिय राय के विपरीत, डे ट्रेडिंग अंतर्ज्ञान या भाग्य पर आधारित नहीं होती है, बल्कि अगर खुद निवेश कर रहे हैं सावधानीपूर्वक योजना और रणनीतिकरण पर आधारित होती है।
अपने निवेश को वैसे ही जानें जैसे कि आप खुद को जानते हैं। शेयर बाजार में निवेश के लिए एक उचित योजना बनाना अपने पैसे को बढ़ाने के लिए निश्चित तरीका है। उचित शोध और धैर्य तथा रणनीति बनाने के साथ, आपके निवेश केवल लाभ प्रदान करेंगे।
₹1 लाख एक साल के लिए निवेश करने के ये हैं बेजोड़ ऑप्शन, पैसे से बनेगा पैसा मिलेगा शानदार रिटर्न
Best investment options for Rs 1 lakh: क्या आपके पास एक लाख रुपये हैं और आप इसे कहीं कम समय के लिए निवेश करना चाहते हैं? अगर हां, तो इसके कई ऑप्शन हैं जिसमें आप पैसा लगा सकते हैं और बेहतर रिटर्न (best investment options in india 2022) भी इतने कम समय में कमा सकते हैं. यहां हम कुछ ऐसे ही निवेश (investment) के शानदार ऑप्शन पर बात कर रहे हैं जिसमें आप एक साल के लिए एक लाख रुपये निवेश कर सकते हैं.
शेयर चुनने का सबसे आसान तरीका, 5 मिनट में खुद बनिए Market Expert!
अधिकतर रिटेलर (Retailer) या फिर कहें आम आदमी, अक्सर दूसरे के कहने पर शेयर बाजारों (Share Market) में निवेश करते हैं, उन्हें कोई कह देता है कि ये Stock अच्छा रिटर्न (Return) दे सकता है और फिर उसमें वे अपनी गाढ़ी कमाई लगा देते हैं. लेकिन क्या आपने ये कभी जानने की कोशिश की है कि जिस कंपनी के स्टॉक में आप निवेश कर रहे हैं, उसका कारोबार कैसा है? (Photo: Getty Images)
दरअलस, रिटेल निवेशक (Retail Investor) भविष्य को ध्यान में रखकर शेयर बाजार (Stock Market) में निवेश करते हैं, क्योंकि उनका नजरिया लॉन्ग टर्म (Long Term) रहता है. लेकिन इसके बावजूद अधिकतर रिटेल निवेशक वर्षों तक निवेशित रहने के बाद भी अच्छा मुनाफा नहीं कमा पाते हैं. इसका एक ही कारण स्टॉक (Stock Selection) का सही से चयन नहीं कर पाना है. (Photo: Getty Images)
इसलिए दूसरे के कहने पर निवेश (Invest) करने से पहले आप खुद आसानी से अच्छे स्टॉक (Best Stock) का चयन कर सकते हैं. अच्छे स्टॉक में निवेश करने से भले ही शॉर्ट टर्म (Short Term) में बाजार में उतार-चढ़ाव की वजह से शेयर थोड़ा नीचे चला जाए और आपको अपने पोर्टफोलियो (Portfolio) में नुकसान दिखे. लेकिन Long Term में हमेशा अच्छे स्टॉक में रिटर्न देने की क्षमता होती है. (Photo: Getty Images)
अब आप सोच रहे होंगे कि स्टॉक का चयन कोई आसान काम है क्या? इसका जवाब है- बिल्कुल आसान काम है. आप 5 मिनट में खुद बेहतर स्टॉक खोज सकते हैं. इसके लिए आपको कंपनी के कारोबार (Business of Company) पर फोकस करना होगा. जिस स्टॉक में आप पैसे लगा रहे हैं, उसका कारोबार बेहतरीन होना चाहिए. बस एक यही अहम पैमाना है, जिसके आधार पर आप लंबी अवधि में शेयर से मोटा रिटर्न पा सकते हैं. (Photo: Getty Images)
आइए जानते हैं, एक स्टॉक में निवेश से पहले कंपनी के कारोबार में क्या देखें, ताकि आप तय कर पाएं कि इसमें निवेश करना है या नहीं. आप आसानी से कंपनी के कारोबार का मौलिक विश्लेषण (Fundamental Analysis) कर सकते हैं. कंपनी छोटी है या बड़ी, आप चंद मिनट में उस कंपनी के खाता-बही को खंगाल सकते हैं. हालांकि बड़ी कंपनियों में निवेश से जोखिम (Risk) कम होते हैं. (Photo: Getty Images)
पहला पैमाना-
सबसे पहले कंपनी के रेवेन्यू को खंगालिए. यह देखें कि कंपनी सालाना कितना रेवेन्यू (Revenue) जेनरेट करती है. अगर साल-दर-साल कंपनी के कुल राजस्व (Total Revenue) में इजाफा हो रहा है तो अगर खुद निवेश कर रहे हैं फिर तो मान के चलिए कंपनी का कारोबार फल-फूल रहा है. अभी कंपनी एक पैमाने पर कंपनी खरी उतरी है. (Photo: Getty Images)
दूसरा पैमाना-
अब इसके बाद कंपनी की Net Income पर नजर डालिए. अगर लगातार कंपनी की Net Income बढ़ रही है तो फिर इससे पता चल जाएगा कि कंपनी अपने सभी खर्चे को काटकर मुनाफे में चल रही है. अगर मोटा रेवेन्यू के बाद भी कंपनी की आमदनी नहीं बढ़ रही है तो फिर ऐसी कंपनी में निवेश से बचें. (Photo: Getty Images)
तीसरा पैमाना-
उसके बाद जिस स्टॉक में निवेश करना चाहते हैं, उस कंपनी की संपत्ति (Assets) को भी जरूर चेक करें. अगर साल-दर-साल कंपनी की संपत्ति (Total Assets) में इजाफा हो रहा है तो, इससे साफ है कि कंपनी अपने कारोबार को विस्तार दे रही है. इसके बाद देखें कि कंपनी पर कुल कितनी देनदारी (Total Liabilities) है. अगर Total Assets से Total Liabilities कम है तो फिर ये कह सकते हैं कि संकट में कंपनी अपने असेट्स बेचकर निवेशकों को पैसा लौट सकती है. इसलिए हमेशा Liabilities से Assets अधिक होना चाहिए. कर्ज में डूबी कंपनी में कतई निवेश न करें. (Photo: Getty Images)
अगर जमीन में निवेश का बना रहे हैं प्लान तो पहले इन तीन मानकों पर करें मूल्यांकन
शहरी निवेशकों के लिए जमीन खरीदने के मायने बिल्कुल अलग हैं। जमीन के एक हिस्से को एक डेवलपर काफी बढ़ा चढ़ाकर पेश कर रहा है और मार्केटिंग के तरीकों से अगर खुद निवेश कर रहे हैं खरीदारों को साधने में लगा है। यह ट्रेंड देखने लायक है। इसमें चुनौतियां भी हैं और अवसर भी।
जेएनएन, नई दिल्ली: भारत में जमीन या अचल संपत्ति में निवेश अनादि काल से निवेशकों के पोर्टफोलियो में रहा है। जब हम जमीन में निवेश की बात करते हैं तो देश की बहुसंख्यक आबादी जो किसान के रूप में गांवों में रहती है, उन्हें नहीं भुलाया जा सकता है। बाकी जो लोग खेती नहीं करते हैं, वे भी किसी न किसी तरह से कृषि से जुड़े हुए हैं। बाजार के निवेश विशेषज्ञ आशुतोष बिश्नोई कहते हैं कि अब शहरी निवेशकों के लिए जमीन खरीदने के मायने बिल्कुल अलग हैं। जमीन के एक हिस्से को एक डेवलपर काफी बढ़ा चढ़ाकर पेश कर रहा है और मार्केटिंग के तरीकों से खरीदारों को साधने में लगा है। यह ट्रेंड देखने लायक है। इसमें चुनौतियां भी हैं और अवसर भी।
यदि आप ऐसी जमीन खरीद पर विचार करने के इच्छुक हैं तो आगे बढ़ने से पहले जिस जमीन को आप खरीदने जा रहे हैं, उसका मूल्यांकन तीन बुनियादी मानकों पर किया जाना चाहिए। यह मानक अगर खुद निवेश कर रहे हैं सेफ्टी, लिक्विडिटी और रिटर्न हैं।
सेफ्टी: सुरक्षा के तहत जो जमीन आप खरीदने जा रहे हैं उसका मालिकाना हक विक्रेता के पास होना चाहिए। इस पर अच्छी तरह से गौर करें। यदि आप जमीन खुद के इस्तेमाल के लिए खरीदने की योजना बना रहे हैं तो इसे अच्छी तरह से समझें।
लिक्विडिटी: जो लोग रियल एस्टेट निवेश से तत्काल अगर खुद निवेश कर रहे हैं और बहुत जल्दी लिक्विडिटी चाहते हैं, तो उनको रियल एस्टेट निवेश ट्रस्ट (आरईआइटी) में निवेश पर विचार करना चाहिए। ये ट्रस्ट मूल रूप से एक विशेषज्ञ रियल एस्टेट पोर्टफोलियो मैनेजर द्वारा फंड की तरह प्रबंधित होते हैं और इन्हें स्टाक एक्सचेंजों में सूचीबद्ध किया जाता है।
रिटर्न: बहुत से लोग आपको बताने वाले मिल जाएंगे कि जमीन में निवेश सबसे अच्छा रिटर्न देता है, जो हमेशा सच नहीं होता है। यदि आप एक किसान बनकर जमीन खरीदने का विचार कर रहे हैं तो आपको अपने प्लान पर बहुत सावधानी से मूल्यांकन करने की आवश्यकता है। जमीन से दूसरे प्रकार का रिटर्न किराया या रेंट होता है। यह एक अच्छा सौदा हो सकता है बशर्ते आपको एक स्थिर, भुगतान करने वाला और ईमानदार किरायेदार मिल जाए।
निष्कर्ष: ऐसे में सवाल उठता है कि क्या आपको उस ब्रांडेड जमीन के आफर को स्वीकार करना चाहिए, जो आपके पास आया आया है? इस मामले में आपको खुद से सवाल पूछना चाहिए कि एक ब्रांडेड चीज (जमीन) खरीदने के लिए मैं जो प्रीमियम चुका रहा हूं, उसके बदले में मुझे क्या मूल्य मिल रहा है? यह एक ऐसा स्व-मूल्यांकन होगा जो आपको सवालों के जवाब तक ले जाएगा।
Investment Tips: इस एक जगह पर निवेश करने से आप कुछ सालों में बन सकते हैं करोड़पति, जानिए कैसे !
निवेश का सिर्फ एक सही फैसला आपको कुछ सालों में ही आपके करोड़पति बनने के सपने को पूरा कर सकता है. आज के समय में निवेश के मामले में ज्यादातर एक्पर्ट्स म्यूचुअल फंड को काफी अच्छा मानते हैं.
एक कहावत है कि पैसे से पैसा बनता है यानी अगर आपको भविष्य में अमीर बनना है तो आपको निवेश करना चाहिए. निवेश भी सही जगह होना चाहिए यानी आपको इस बारे में पता होना चाहिए कि आपको कहां रिटर्न करने पर कितना फायदा मिलेगा. आज के समय में निवेश के मामले में ज्यादातर एक्पर्ट्स म्यूचुअल फंड को काफी अच्छा मानते हैं. अगर आप भी बाजार की ताकत जानते हैं तो इसकी अहमियत को भी अच्छी तरह से समझते होंगे. म्यूचुअल फंड में निवेश करके आप चाहें तो खुद को कुछ सालों में करोड़पति भी बना सकते हैं. जानिए कैसे ?
मात्र 5000 का निवेश भी काफी है
इस मामले में फाइनेंशियल एक्सपर्ट शिखा चतुर्वेदी कहती हैं कि अगर आप एक अच्छे म्यूचुअल फंड का चुनाव करके उसमें निवेश करें तो कुछ सालों में करोड़पति बनना मुश्किल बात नहीं है. अच्छे म्यूचुअल फंड से आमतौर पर सालाना 12 परसेंट तक ब्याज मिल जाता है. कई बार तो ये 14 से 15 प्रतिशत भी हो जाता है. ऐसे में आपको निवेश पर अच्छा खासा रिटर्न मिलता है. शिखा कहती हैं कि अगर आप एक अच्छे म्यूचुअल फंड में 5000 रुपए तक का मासिक निवेश करते हैं तो 12 फीसदी ब्याज के हिसाब से ये अगले 23 साल में 1 करोड़ हो जाएगा. जबकि 23 साल में आपका निवेश कुल 1380000 रुपए का होगा. अगर इंटरेस्ट रेट इससे भी अच्छा मिला तो आपका पैसा और ज्यादा यानी सवा करोड़ के आसपास पहुंच जाएगा.
कैसे करें सही म्यूचुअल फंड का चुनाव
निवेश के लिए सही म्यूचुअल फंड का चुनाव बहुत जरूरी है. सही यानी वो म्यूचुअल फंड जो आपकी जरूरतों को पूरा कर सके. हर व्यक्ति को निवेश करने से पहले अपना आर्थिक लक्ष्य तय कर लेना चाहिए और इसके बाद ये तय करना चाहिए कि कौन सा म्यूचुअल फंड उपर्युक्त साबित होगा. उपर्युक्त म्यूचुअल फंड चुनने के लिए सबसे पहले बेस्ट म्यूचुअल फंड की दावेदारी करने वाले शीर्ष दावेदारों की लिस्ट बनाएं. उनकी तुलना करें और देखें कि आपकी जरूरतों को काैन पूरा कर रहा है. आप चाहें तो आर्थिक सलाहकार की भी मदद ले सकते हैं.
रिटायरमेंट के बाद पेंशन का विकल्प
म्यूचुअल फंड के जरिए आपको मासिक पेंशन भी मिल सकती है. म्यूचुअल फंड सिस्टेमैटिक विद्ड्रॉल प्लान (Systematic Withdrawal Plan) के तहत आपको एक तय राशि म्यूचुअल फंड स्कीम (Mutual Fund Scheme) से वापस मिलती है. अगर इसमें आपका फंड एक करोड़ है तो हर महीने 50 से 60 हजार रुपए मासिक पेंशन के रूप में मिलेंगे. वहीं 50 लाख तक का फंड होने पर 25 से 30 हजार रुपए तक मिलेंगे. अच्छी बात ये है कि इसके बाद भी आपके जमा रुपए बढ़ते रहते हैं.
SWP की शुरुआत कैसे करें
सिस्टमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान की तरह ही सिस्टमैटिक विड्रॉल प्लान काम करता है. SWP की शुरुआत कभी भी की जा सकती है. अगर किसी स्कीम में निवेश कर रहे हैं तो आप उसमें SWP विकल्प को एक्टिवेट कर सकते हैं. कभी भी रेगुलर कैश फ्लो की जरूरत के लिए इसे शुरू किया जा सकता है. SWP एक्टिवेट करने के लिए आपको फोलियो नंबर, विद्ड्रॉल की फ्रीक्वेंसी, पहली निकासी की तारीख, पैसे प्राप्त करने वाले बैंक अकाउंट को बताते हुए एएमसी में इंस्ट्रक्शन स्लिप भरना होगा.