शेयर मार्केट का सबसे अच्छा ब्रोकर कौन है?

Demat Account कैसे खोलें? यहां जानें प्रोसेस; Share Market में ट्रेडिंग करने के लिए है जरूरी
अगर आप शेयर बाजार में ट्रेडिंग करने की इच्छा रखते हैं तो आपका डीमैट खाता होना जरूरी है। डीमैट खाते को बैंक वित्तीय संस्थान या ब्रोकर के साथ खाला जा सकता है। यह ऑफलाइन और ऑनलाइन दोनों तरीकों से खोला जा सकता है।
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। शेयर बाजार में निवेश और ट्रेडिंग करने के लिए डीमैट खाता होना जरूरी है। अगर किसी व्यक्ति का डीमैट खाता नहीं है तो वह शेयर बाजार में निवेश नहीं कर सकता है। डीमैट खाता खोलने के लिए सबसे पहले डिपॉजिटरी पार्टिसिपेंट (डीपी) का चुनाव करें, जिसके साथ आप डीमैट खाता खोलना चाहते हैं। यह कोई बैंक, वित्तीय संस्थान या शेयर मार्केट का सबसे अच्छा ब्रोकर कौन है? ब्रोकर हो सकता है। डीपी का चुनाव आदर्श रूप से ब्रोकरेज शुल्क और वार्षिक शुल्क आदि के आधार पर करना चाहिए।
डीमैट खाता कैसे खोलें?
डीपी से संपर्क करें और फिर डीमैट खाता खोलने का फॉर्म तथा केवाईसी फॉर्म जमा करें। इसके साथ, पैन कार्ड, निवास प्रमाण और आईडी प्रूफ की कॉपी देनी होगी। यहां पासपोर्ट साइज के फोटो भी देने होते हैं। सत्यापन प्रक्रिया के लिए ऑरिजनल दस्तावेज भी अपने पास रखें। यहां आपको लाभांश बैंक विवरण के लिए एक कैंसिल चेक भी देना होगा।
फिर आपको एक समझौते पर हस्ताक्षर करने होंगे, जिसमें डीमैट खाता रखने से जुड़े सभी नियमों, विनियमों और अधिकारों का उल्लेख होगा। इन्हें ध्यान से पढ़ें और अपने सभी संदेहों को दूर करने में संकोच न करें। जब इसे डीपी को प्रस्तुत किया जाता है, तो इस पर एक अधिकृत व्यक्ति द्वारा हस्ताक्षर किए जाते हैं और इसकी एक प्रति आपको दी जाएगी।
जब खाता खोला जाता है, तो आपको डीपी से एक विशिष्ट ग्राहक आईडी प्राप्त होगी। यह, अन्य विवरणों के साथ, आपको अपने डीमैट खाते को ऑनलाइन एक्सेस करने में मदद करेगी। डीमैट खाता सिर्फ ऑफलाइन ही नहीं बल्कि ऑनलाइन भी खोला जा सकता है।
डीमैट खाता ऑनलाइन कैसे खोलें?
किसी भी डीपी के साथ डीमैट खाता खोलने के लिए ऑनलाइन भी आवेदन किया जा सकता है। आप अपने घर या दफ्तर में बैठे हुए सिर्फ कुछ ही क्लिक करके आसानी से ऑनलाइन डीमैट खाता खोल सकते हैं। इसके लिए सबसे पहले अपने चुने हुए डीपी की वेबसाइट पर जाएं।
डीपी की वेबसाइट पर जाकर 'ओपन डीमैट अकाउंट' टैब पर क्लिक करें और नाम, ईमेल आईडी, मोबाइल नंबर, ओटीपी और शहर आदि की जानकारी भरें। इसके बाद डीमैट खाता खोलने की औपचारिकताओं को पूरा करने के लिए डीपी द्वारा आपसे संपर्क किया जाएगा।
Trading और Investment क्या हैं, दोनों में क्या अंतर है
जब भी नए लोग शेयर मार्केट में आते है। उसके मन में ये सवाल जरूर आता ही हैं। Trading और Investing क्या है इन दोनों में क्या अंतर होते हैं। ये सवाल मन में आना जायज भी हैं। जब तब नए लोगो को ये समझ नहीं आते उसे कैसे पता लगेगा उसका जोखिम क्षमता और लक्ष्य के हिसाब से, Trading और Investing में उसके लिए किया बेहतर होगा। आज हम जानेंगे Trading और Investing होता क्या है, दोनों में क्या अंतर हैं, Trading कितने तरह की होते हैं। साथ ही साथ जानेंगे कि ट्रेडिंग से हर रोज कमाई कर सकते है या नहीं।
Table of Contents
Trading क्या होता है:-
जब भी आप शेयर को खरीदते हो और उस दिन ही बेच देते हो। तब इसे Trading कहते हैं। मतलब आप Stock Trading में ज्यादा समय तक शेयर को अपने पास नहीं रख सकते हो। मान लीजिए आप एक शेयर खरीदा 200 रुपये में प्रॉफिट होने पर आपने उस दिन ही 220 रुपये में बेच दिया। इसी प्रोसेस को कहते है ट्रेडिंग। Trading करते वक्त Trader हमेशा Technical Analysis के साथ चलते हैं। जिससे उस कंपनी के शेयर प्राइस को कुछ समय आगे का शेयर प्राइस अंदाजा हो जाता हैं। इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कंपनी क्या काम करती है, भविष्य की योजना क्या हैं। सिर्फ ये देखा जाएगा शेयर प्राइस किस तरफ जा रही है। Trading करते समय न्यूज़ पर ध्यान देना बहुत जरुरी होता हैं. क्युकी कोई अच्छी खबर किसी भी शेयर को ऊपर ले जा सकती हैं। और बुरी खबर एकदम से नीचे भी ला सकती हैं।
Trading के प्रकार (Types of Trading):-
बहुत सारे Types of Trading होते है मुख्य रूप से 5 तरह का होता है। जिससे ट्रेडर ट्रेडिंग करके पैसा कमाई कर सके।
- Day Trading:- इसमें ट्रेडर को जिस दिन खरीदा उस दिन ही शेयर को बेचना पड़ता हैं। उस स्टॉक को कुछ समय के लिए होल्ड कर सकता है। मार्केट बंद होने से पहले ही ट्रेडर को शेयर बेचना ही पड़ता हैं। इसमें छोटे छोटे पल स्टॉक में होने वाले ऊपर नीचे से Traders अपना प्रॉफिट कर सकते हैं।
- Scalping Trading:- Day Trading और Scalping दोनों एक ही तरह का होता हैं। इस ट्रेडिंग में खरीद बेच होते है लेकिन दिन में कही बार ये ट्रेंड किया जा सकता हैं। आपको प्रॉफिट भी हो सकता है और नुकसान भी, इस पर निर्भर करता है कि आपने किस प्रकार का ट्रेंड किया हैं।
- Swing Trading:- इस ट्रेडिंग में आप खरीद और बेच तो सकते हो। अगर आपको खरीदा हुआ दिन नुकसान हो रहा है तो आप उस दिन शेयर को ना बेचकर कुछ दिनों तक होल्ड भी कर सकते हो। फिर जब प्रॉफिट आ जाता है तब बेचकर मुनाफा कमाई कर सकते हैं।
- Momentum Trading:- इस Trading को ट्रेंडर तब प्रयोग करता है जब कोई शेयर ऊपर जाता दिखता हैं। तब खरीदारी कर लेता है जैसे ही कोई उस शेयर का खराब न्यूज़ आता है तब तुरंत बेच देते हैं। जिससे Trader कुछ समय में ही अच्छी मुनाफा कमाई कर लेते हैं। लेकिन इसके लिए न्यूज़ के साथ अपडेट रहना बहुत जरुरी हैं। अगर सही समय पर शेयर को नहीं बेचा तो बहुत ज्यादा नुकसान भी हो सकता हैं।
- Position Trading:- इस तरह का ट्रेडिंग में आप कुछ दिनों के लिए ट्रेडिंग कर सकते हैं। ये Trading उन लोगों के लिए है जो लोग नियमित रूप से मार्केट में नहीं आते। खरीद कर कुछ दिनों के बाद मुनाफा आते ही बेच कर निकल जाते। इसी तरह का ट्रेडर को कहते हैं Position Trading।
Investing क्या होता है:-
जब कोई शेयर आज खरीद के बहुत साल बाद बेच देते है तब इसे Investing कहते हैं। इन्वेस्टिंग में आप बहुत लंबे समय के शेयर को अपने Demat Account में रखते हो। कंपनी के वित्तीय विवरण, पिछले प्रदर्शन, भविष्य में होने वाले ग्रोथ को देखते हुए ही किसी भी शेयर में इन्वेस्ट करता हैं। Investing में Fundamental Analysis करना बहुत जरुरी हैं। जिससे आपको कंपनी के बारे अच्छी नॉलेज होगा और भविष्य में अच्छा रितर्न कमाके देगा।
Investing के प्रकार (Types of Investing):-
मुख्य रूप से इन्वेस्टिंग दो तरह का होता हैं। जिससे आपको लंबे समय में जबरदस्त मुनाफा कमाई करके देगा।
- Value Investing:- इस तरह का इन्वेस्टिंग में आप अच्छी कंपनी का शेयर प्राइस जब नीचे आता है। तब आपको उसमे इन्वेस्ट करना चाहिए। Value Investing में इन्वेस्टर शेयर का विश्लेषण करके देखता है कि कौन सा शेयर कम दाम में मिल रहा हैं। फिर उसमे लंबे समय तक निवेश करता हैं।
- Growth Investment:- जो कंपनी भविष्य में ग्रोथ की संभावना देखता है उसी शेयर में इन्वेस्टर लंबे समय के लिए निवेश करता है। इसी को Growth Investment कहते हैं। इससे Investor उस कंपनी में ज्यादा इन्वेस्ट करता है जो कंपनी Fundamentally बहुत मजबूत हैं।
Trading और Investing में अंतर क्या है (Difference between Trading and Investing):-
- Trading कम समय शेयर मार्केट का सबसे अच्छा ब्रोकर कौन है? के लिए होता हैं।
- Investing लंबे समय के लिए होता हैं।
- इसमें Technical Analysis का इस्तेमाल करते हैं।
- Investing में Fundamental Analysis का इस्तेमाल करते हैं।
- Trading में कम समय में बहुत ज्यादा पैसा कमाई कर सकते हैं।
- इसमें आपका कमाई करने के लिए बहुत ज्यादा समय लगता हैं।
- ट्रेडिंग करने से ब्रोकर का शुल्क बहुत ज्यादा होता हैं।
- इन्वेस्टिंग में ब्रोकर का शुल्क ना के बराबर होता हैं।
- Trading जुआ की तरह होता हैं सोचने समझने के लिए समय नहीं मिलता।
- Investing में आप सोच समझकर निवेश कर सकते हैं।
क्या Trading से रोज पैसा कमाई कर सकते है:-
जी शेयर मार्केट का सबसे अच्छा ब्रोकर कौन है? बिल्कुल आप ट्रेडिंग से हर रोज पैसा कमाई कर सकते हो। लेकिन जैसा कि हम जानते है Share Market रिस्क भी होता हैं। जिस तरह आप रेगुलर कमाई कर सकते है ठीक उसी तरह नुकसान भी हो सकता हैं। लाभ और नुकसान निर्भर करता है आपके ट्रेडिंग रणनीति के ऊपर। कब आप कौन सा ट्रेड ले रहे हो और आप कितना सही हो। जहा लोग बहुत कम समय में लाखो रूपया कमा लेते है वही कुछ लोग कम समय में लाखों रुपये का नुकसान भी कर लेते हैं।
अगर आप नए निवेशक हो तो आपको सबसे पहले Investing की तरफ जाना चाहिए। क्युकी अच्छा शेयर कम समय में नीचे भी आ सकता हैं। लेकिन लंबे समय में वो शेयर जरूर ऊपर जाएगा ही। आपको एसी शेयर में निवेश करना चाहिए जो शेयर भबिस्य में बढ़ने की पूरी संभावना रहती हैं।
आशा करता हु आपको Trading और Investment क्या हैं, दोनों में क्या अंतर है, कितने Types के होते है आपको अच्छी तरह से समझमे आ गया होगा । इससे जुड़ी कोई सवाल या सुझाब है तो कमेंट में जरुर बताए। शेयर मार्केट के बारे में बिस्तार से जानने के लिए आप हमारे और भी पोस्ट को पढ़ सकते हैं।
कम जोखिम में ज्यादा फायदा पाने का शेयर मार्केट का सबसे अच्छा ब्रोकर कौन है? आसान तरीका है ऑप्शन ट्रेडिंग से निवेश, ले सकते हैं बीमा
यूटिलिटी डेस्क. हेजिंग की सुविधा पाते हुए अगर आप मार्केट में इनवेस्टमेंट करना चाहते हैं तो फ्यूचर ट्रेडिंग के मुकाबले ऑप्शन ट्रेडिंग सही चुनाव होगा। ऑप्शन में ट्रेड करने पर आपको शेयर का पूरा मूल्य दिए बिना शेयर के मूल्य से लाभ उठाने का मौका मिलता है। ऑप्शन में शेयर मार्केट का सबसे अच्छा ब्रोकर कौन है? ट्रेड करने पर आप पूर्ण रूप से शेयर खरीदने के लिए आवश्यक पैसों की तुलना में बेहद कम पैसों से स्टॉक के शेयर पर सीमित नियंत्रण पा सकते हैं।
Career in Stock Broking: ऐसे बनाएं स्टॉक ब्रोकिंग के फील्ड में कॅरियर
Career in Stock Broking: मौजूदा दौर में स्टॉक ब्रोकिंग के फील्ड में कॅरियर के अवसर लगातार बढ़ रहे हैं। कॉमर्स स्ट्रीम के छात्रों के लिए स्टॉक ब्रोकर एक आकर्षक कॅरियर माना जाता है। स्टॉक्स और अन्य सिक्योरिटीज को खरीदने और बेचने की प्रोसेस को ‘स्टॉक ब्रोकिंग’ कहा जाता है। एक रिपोर्ट के मुताबिक वित्त वर्ष 2018-19 में इंडियन ब्रोकिंग इंडस्ट्री की ग्रोथ रेट 5 से 10 फीसदी तक रही है। भारत में स्टॉक ब्रोकिंग के फील्ड में कैंडिडेट्स का भविष्य आशाजनक है और कुछ वर्षों के वर्क एक्सपीरियंस के बाद इन प्रोफेशनल्स को अच्छा सालाना सैलरी पैकेज भी मिलता है। अगर आप शेयर मार्केट में रुचि रखते हैं तो आप अच्छा कॅरियर बना सकते हैं।
कौन है स्टॉक ब्रोकर
स्टॉक ब्रोकर शेयर मार्केट में अपने क्लाइंट के हर तरह के लेन-देन के मामलों को देखता है। स्टॉक ब्रोकर स्टॉक एक्सचेंज और निवेशक के बीच कड़ी का काम करता है। बिना ब्रोकर के कोई भी निवेशक अपना सौदा शेयर मार्केट में नहीं डाल सकता है। यदि शेयर मार्केट का सबसे अच्छा ब्रोकर कौन है? आप शेयर मार्केट में कदम रखना चाहते हैं तो डीमैट अकाउंट और ट्रेडिंग अकाउंट की जरूरत पड़ती है।
बाजार की हो समझ
स्टॉक ब्रोकर के रूप में अपना कॅरियर बनाने के लिए उम्मीदवार को कम्प्यूटर की बेसिक नॉलेज के साथ-साथ बिजनेस कम्यूनिकेशन और शेयर बाजार की वर्किंग के बारे में अच्छी जानकारी होनी चाहिए। स्टूडेंट्स को क्लाइंट्स के साथ-साथ कंपनियों के लिए स्टॉक खरीदने और बेचने की पूरी ट्रेनिंग भी लेनी चाहिए, तभी वे बेहतर तरीके से काम कर पाएंगे।
याद रखने योग्य खास बातें
सबसे पहले आप यह पता करें कि स्टॉक मार्केट कैसे काम करता है। उसके बाद आपको अपने नाम का रजिस्ट्रेशन सेबी यानी सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया के पास करवाना होगा। आपके अंदर बाजार के उतार-चढ़ाव को फेस करने शेयर मार्केट का सबसे अच्छा ब्रोकर कौन है? की काबिलियत होना भी आवश्यक है।
योग्यता
ग्रेजुएशन कर चुके छात्र और ग्रेजुएशन के अंतिम वर्ष के छात्र पीजी डिप्लोमा इन बैंकिंग एंड फाइनेंस कोर्स के लिए आवेदन कर सकते हैं और स्टॉक ब्रोकर बनने की दिशा में आगे बढ़ सकते हैं। छात्रों को मार्केटिंग, बिजनेस, अकाउंटिंग और फाइनेंस जैसे क्षेत्रों में रुचि होनी चाहिए। इसके अलावा आपके अंदर तुरंत फैसला लेने का साहस होना चाहिए।
अवसर
स्टॉक ब्रोकर के रूप में आप फाइनेंशियल एडवाइजर, बैंक ब्रोकर, इंडिपेंडेंट ब्रोकर, इक्विटी एनालिस्ट, स्टॉक ब्रोकिंग फर्म, इन्वेस्टमेंट बैंकर के तौर पर भी काम कर सकते हैं। आप चाहें तो इन्वेस्टमेंट बैंक्स, पेंशन फंड्स, ब्रोकिंग फम्र्स, म्यूचुअल फंड्स, रिसर्च सेंटर्स में अच्छे पद पर कार्यरत हो सकते हैं। स्टॉक ब्रोकर के रूप में आगे बढऩे के कई अवसर होते हैं।