व्यापार मार्ग

पाकिस्तान में सब्जियों के दाम आसमान पर, भारत के साथ व्यापार मार्ग खोलने की मांग ने जोर पकड़ा
लाहौर, एक सितंबर (भाषा) पाकिस्तान में भारत के साथ व्यापार मार्ग खोलने की मांग जोर पकड़ रही है। यहां विनाशकारी बाढ़ के कारण सब्जियों और फलों की कीमतों में जोरदार उछाल आया है और देशभर में हजारों एकड़ में फसल नष्ट हो गई है।
चूंकि शहबाज शरीफ सरकार ने अभी तक भारत से व्यापार मार्ग सब्जियों और फलों के आयात पर निर्णय नहीं लिया है, इसलिए कई व्यापार मंडल, उपभोक्ताओं की खातिर पड़ोसी देश भारत से प्याज और टमाटर जैसी आवश्यक वस्तुओं को आयात करने का आग्रह कर रहे हैं।
सब्जियों की बढ़ती कीमतों के मद्देनजर भारत से खाद्य सामान आयात करने का विचार सबसे पहले वित्त मंत्री मिफ्ता इस्माइल ने सोमवार को पेश किया था। हालांकि, इस्माइल ने बुधवार को कहा कि कश्मीर मुद्दे पर भारत के साथ तनावपूर्ण संबंधों के मद्देनजर इस योजना को लेकर विपक्ष की आलोचना के बीच वह सरकार भारत से खाद्य पदार्थों के आयात पर गठबंधन सहयोगियों और प्रमुख अंशधारकों से परामर्श करेंगे।
बृहस्पतिवार को फैसलाबाद चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के अध्यक्ष आतिफ मुनीर ने सरकार से सब्जियों की आपूर्ति श्रृंखला को बनाए रखने के लिए त्वरित कार्रवाई करने का अनुरोध किया।
उन्होंने कहा, ‘‘परिवहन शुल्क को कम करने के लिए पड़ोसी देशों के साथ व्यापार, विशेष रूप से भारत के साथ व्यापार करना महत्वपूर्ण है और इससे यहां उपभोक्ताओं को सस्तर दरों पर सब्जियां और फल उपलब्ध कराने में मदद मिलेगी।’’
लाहौर मार्केट कमेटी के सचिव शहजाद चीमा ने कहा कि सरकार को भारत से सब्जियां और फल आयात करने का फैसला करना चाहिए क्योंकि यहां के उपभोक्ताओं को राहत देना समय की मांग है।
उन्होंने कहा कि ताफ्तान सीमा (बलूचिस्तान) के जरिये ईरान से सब्जियों का आयात व्यवहार्य नहीं है क्योंकि ईरानी सरकार ने इसके आयात और निर्यात पर कर बढ़ा दिया था।
तहरीक-ए-इस्ताकलाल के अध्यक्ष रहमत खान वरदाग ने भी पाकिस्तान के नागरिकों के लाभ के लिए भारत के साथ खुले व्यापार की वकालत की है।
इस वरिष्ठ राजनेता ने बृहस्पतिवार को एक बयान में कहा, ‘‘सरकार को उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए सभी तरीकों का इस्तेमाल करना चाहिए क्योंकि टमाटर और प्याज की कीमतें 400 रुपये प्रति किलो को पार कर गई हैं। सब्जियों और फलों की आपूर्ति कम से कम समय में भारत जैसे पड़ोसी देशों से ही संभव है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘चूंकि सरकार पहले ही ईरान और अफगान सीमाओं को खोलने का फैसला कर चुकी है, इसलिए उसे सब्जियों की कीमतों में तुरंत कमी लाने के लिए भारत से रसोई के उपयोग वाले सामान आयात करने के लिए वाघा सीमा खोलने की भी अनुमति देनी चाहिए।’’
वित्त मंत्री इस्माइल ने बुधवार को कहा कि एक से अधिक अंतरराष्ट्रीय एजेंसी ने वाघा की भूमि सीमा के माध्यम से उन्हें भारत से खाद्य सामग्री लाने की अनुमति देने के लिए सरकार से संपर्क किया है।
उन्होंने कहा, ‘‘सरकार अपने गठबंधन सहयोगियों और प्रमुख अंशधारकों से परामर्श करने के बाद आपूर्ति की कमी की स्थिति के आधार पर आयात की अनुमति देने या न करने का निर्णय लेगी।’’
नौ-दलीय गठबंधन सरकार वर्तमान में बाढ़ से प्रभावित लाखों लोगों की पीड़ा को कम करने के लिए भारत से सब्जियों के आयात की अनुमति सहित सभी विकल्पों पर विचार कर रही है।
पाकिस्तान पहले ही भारत के साथ दवा उत्पादों और सर्जिकल उपकरणों के व्यापार की अनुमति दे चुका है।
भाषा राजेश राजेश अजय
यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.
व्यापार मार्ग अंग्रेजी में
The Babylonians developed trade routes across the rocky desert of northern Arabia.
trade route by road
en series of roads, pathways and stoppages for commercial trade on land; excludes rail
उदाहरण
दक्षिण एवं मध्य एशिया को जोड़ने का विचार क्षेत्रीय व्यापार मार्गों की ऐतिहासिक जड़ों की याद दिलाता है।
नए व्यापार मार्गों, थलचर और विदेशी, दोनों मध्य एशिया और यूरोप के साथ एक सांस्कृतिक आदान प्रदान बनाया।
New trade routes, both overland and overseas, created a cultural exchange with Central Asia and Europe.
Both sides have stakes in protecting maritime trade routes, and in effective counter-piracy measures.
The ancient trade routes in Asia included the Silk Route, the Spice Route and many other such routes.
The ancient trade routes in Asia included the Silk Route, the Spice Route and many other such routes.
Home to more than three billion people, this region is the focal point of the world’s energy and trade routes.
सरकार ने चीनी पक्ष से डेमचोक, नीति और बुमला होकर अतिरिक्त सीमा व्यापार मार्गों को खोलने का प्रस्ताव किया है ।
Government have proposed to the Chinese side the opening of additional border trading routes, including through Demchok, Niti and Bumla.
यदि पारंपरिक व्यापार मार्गों को पुन: खोला जाए तो काराकोरम समुदायों की आर्थिक संभावनाएं काफी हद तक बढ़ सकती हैं।
The economic prospects of the Karkoram communities would brighten greatly if traditional trade routes could be reopened.
उसके पास ढेरों प्राकृतिक संसाधन थे और अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मार्गों तक आसान पहुँच। इन्हीं खास वजहों से वह अमीर बन पाया।
धारचूला एक छोटा सा सुदूर क़स्बा है जो हिमालय से होकर गुज़रने वाले एक प्राचीन व्यापार- मार्ग से जुड़ा हुआ है।
प्राचीन समय में वडनगर ऐसे रणनीतिक स्थान पर था जहां से दो प्राचीन व्यापार मार्ग एक दूसरे को पार करते थे।
In ancient times, Vadnagar was situated at a strategic location where two major ancient trade routes crossed each other.
सरकार भारत-चीन सीमा पर अन्य व्यापार मार्गों को खोलने की संभावना का चीनी पक्ष के साथ पता लगाना जारी रखेगी ।
Government will continue to explore with the Chinese side the possibility of opening other trading routes along the India-China border.
(यह बक्स देखिए, “समुद्री सफर और व्यापार मार्ग”) गनीमत है कि जहाज़ पर सवार मुजरिमों के बीच पौलुस अकेला मसीही नहीं है।
कारवां द्वारा लाए गए शानदार माल ने कारवांसेरई के निर्माण के लिए महत्वपूर्ण व्यापार मार्गों के साथ कई शासकों को आकर्षित किया।
The luxurious goods brought by caravans attracted many rulers along important trade routes to construct caravanserais.
हमारा समुद्रीय क्षेत्र व्यापार के चौराहे पर है तथा इसके व्यस्त ऊर्जा व्यापार मार्ग अत्यंत ही संवेदनशील केन्द्रों से होकर गुजरते हैं।
Our maritime domain is at the crossroads of commerce and its busy energy trade routes pass through vulnerable points.
व्यापार मार्ग
असैनिक जगत के अन्य व्यवसायों की तुलना में भारतीय नौसेना नवयुवकों और युवतियों को करियर का बेहतर अवसर प्रदान करती हैI
पत्तन और पोत परिवहन
Published: on 21-11-16
पत्तन समुद्री परिवेश के आवश्यक भाग हैं और ये उन केंद्रों की तरह हैं जो समुद्री-मार्ग को ज़मीन पर व्यापार से जोड़ते हैंI भारत में 12 बड़े पत्तन और 200 छोटे पत्तन हैंI इन प पत्तनो से भारत का 95% अंतरराष्ट्रीय व्यापार होता है और इस प्रकार हमारे देश की अर्थव्यवस्था में इन पत्तनो का महत्वपूर्ण योगदान है I
व्यापारिक बेड़ो के पोत समुद्री व्यापार में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैंI भारत का समुद्री व्यापार भारतीय ध्वज वाहक पोतों के साथ-साथ विदेशी ध्वज वाहक पोतों द्वारा भी किया व्यापार मार्ग जाता हैI भारतीय पोत परिवहन उद्योग पिछ्ले कई वर्षों से लगातार प्रगति कर रहा है और समुद्री उद्योग में बड़ी संख्या में भारतीय नियोजित हैं जिनमें व्यापारिक पोतों पर तैनात क्रू सदस्य भी शामिल हैंI विश्व के व्यापारिक नाविकों की संख्या का लगभग 7% भारतीय हैंI अतः व्यापार मार्ग आज हम यह कह सकते हैं कि समुद्र में नौचालन कर रहे लगभग प्रत्येक व्यापारिक पोत पर एक भारतीय नाविक तैनात हैI भारतीय व्यापारिक पोतों की सुरक्षा के साथ-साथ हिंद महासागरीय क्षेत्र के भीतर व्यापार मार्गों की सुरक्षा की ज़िम्मेदारी भारतीय नौसेना की है I
सामान और कच्चे पदार्थों को ढोने के लिए विभिन्न प्रकार के पोत हैंI तेल ढोने वाले पोत को टैंकर कहा जाता हैI भोजन, एलेकट्रॉनिक्स, औजार इत्यादि तैयार उत्पादों को ढोने के लिए बहुत बड़े कंटेनर की आवश्यकता होती है और इन्हें कंटेनर पोतों में ढोया जाता हैI न्हावा भेवा के नाम से प्रसिद्द जवाहर लाल नेहरू पत्तन मुंबई के नज़दीक स्थित है और यह भारत का सबसे बड़ा कंटेनर पोत है भारत के व्यापार मार्ग प्रमुख पत्तन निम्नलिखित हैं:-
अंतर्देशीय जल परिवहन और व्यापार प्रोटोकॉल
भारत और बांग्लादेश के बीच एक प्रोटोकॉल (समझौता) है, जिसके तहत दोनों देशों के जलयान विनिर्दिष्ट नदी मार्गों से आवाजाही कर सकते हैं । भारत और बांग्लादेश के बीच अंतर्देशीय जल पारगमन और व्यापार होता है । समझौता व्यापार मार्ग के तहत प्रत्येक देश में चार विशिष्ट नदी मार्ग और 5 बंदरगाह विनिर्धारित किए गए हैं । वर्तमान समझौता मार्च 2020 तक मान्य है इसके बाद उसके स्वत: नवीनीकरण का प्रावधान है । ये इस प्रकार हैं: -
- कोलकाता - हल्दिया - रायमोंगल - छालना - खुलना - मोंगला – कौखाली - बरिसाल - हिजला - चाँदपुर - नारायणगंज - अरिचा - सिराजगंज - बहादुरबाद - चिलमारी - धुब्री - पांडु- सिलघाट; और इसके विपरीत क्रम से (एक तरफ से कुल लंबाई : 1720 किलोमीटर)
- कोलकाता - हल्दिया - रायमोंगल - मोंगला - कोखाली - बरिसाल - हिजला - चांदपुर - नारायणगंज - भैरब बाज़ार – अजमीरी गंज - मरकुली - शेरपुर - फेंचूगंज - ज़ाकीगंज – करीमगंज ; और इसके विपरीत क्रम से (एक तरफ से कुल लंबाई : 1318 किलोमीटर)
- राजशाही - गोदगरी – धुलियन; और इसके विपरीत (एक तरफ से कुल लंबाई: 78 किमी)
- करीमगंज - जाकीगंज - फेंचुगंज - शेरपुर - मार्कुली - अजमीरीगंज - भैरब बाजार - नारायणगंज - चांदपुर - अरिचा - सिरागंज - बहादुराबाद - चिलमारी - धुब्री - पांडु- सिलघाट ; और इसके विपरीत क्रम से (एक तरुफ से कुल लंबाई: 1416 किलोमीटर)
दोनों देशों में पांच नामित पत्तन निम्नानुसार हैं: -
क्रम सं. | इंडिया | बांग्लादेश |
1 | कोलकाता | नारायणगंज |
2 | हल्दिया | खुलना |
3 | करीमगंज | मोंगला |
4 | पांडु | मोंगला |
5 | सिलघाट | आशुगंज |
कई वर्षों से भारत - बंगलादेश प्रोटोकॉल (आई बी पी) मार्ग के माध्यम से कार्गो का परिवहन नियमित रूप से हो रहा है । हालांकि, इन प्रोटोकॉल मार्गों पर भारतीय माल की ढुलाई पिछले 14-15 वर्षों में कम हुई है । इसका मुख्य कारण गैर-मानसून महीनों के दौरान आई बी पी के प्रखंड अर्थात सिराजगंज - दिखौआ और आशूगंज - जाकिगंज में न्यूनतम उपलब्ध गहराई का कम रहना है । इस पर विचार करते हुए, हाल ही में, भारत सरकार और व्यापार मार्ग बांग्लादेश सरकार इन प्रखंडों में (भारत सरकार के 80% निधि के साथ) ड्रेजिंग कार्य करने पर सहमत हुए हैं। इस पहल से उम्मीद है व्यापार मार्ग कि अजप माध्यम द्वारा हल्दिया और कोलकाता पत्तन के बीच तथा असम के गुवाहाटी/ सिलचर और ब्रह्मपुत्र और बराक नदियों के साथ लगे अन्य स्थानों पर माल ढुलाई में काफी तेजी आएगी । अन्तर्देशीय जलमार्ग के माध्यम से कार्गो की ढुलाई काफी हद तक बढ़ जाने की सम्भावना है।
पाकिस्तान में सब्जियों के दाम आसमान पर, भारत के साथ व्यापार मार्ग खोलने की मांग ने जोर पकड़ा
(एम जुल्करनैन) लाहौर, एक सितंबर (भाषा) पाकिस्तान में भारत के साथ व्यापार मार्ग खोलने की मांग जोर पकड़ रही है। यहां विनाशकारी बाढ़ के कारण सब्जियों और फलों की कीमतों में जोरदार उछाल आया है और देशभर में हजारों एकड़ में फसल नष्ट हो गई है। चूंकि शहबाज शरीफ सरकार ने अभी तक भारत से सब्जियों और फलों के आयात पर निर्णय नहीं लिया है, इसलिए कई व्यापार मंडल, उपभोक्ताओं की खातिर पड़ोसी देश भारत से प्याज और टमाटर जैसी आवश्यक वस्तुओं को आयात करने का आग्रह कर रहे हैं।
लाहौर, एक सितंबर (भाषा) पाकिस्तान में भारत के व्यापार मार्ग साथ व्यापार मार्ग खोलने की मांग जोर पकड़ रही है। यहां विनाशकारी बाढ़ के कारण सब्जियों और फलों की कीमतों में जोरदार उछाल आया है और देशभर में हजारों एकड़ में फसल नष्ट हो गई है।
चूंकि शहबाज शरीफ सरकार ने अभी तक भारत से सब्जियों और फलों के आयात पर निर्णय नहीं लिया है, इसलिए कई व्यापार मंडल, उपभोक्ताओं की खातिर पड़ोसी देश भारत से प्याज और टमाटर जैसी आवश्यक वस्तुओं को आयात करने का आग्रह कर रहे हैं।
सब्जियों की बढ़ती कीमतों के मद्देनजर भारत से खाद्य सामान आयात करने का विचार सबसे पहले वित्त मंत्री मिफ्ता इस्माइल ने सोमवार को पेश किया था। हालांकि, इस्माइल ने बुधवार को कहा कि कश्मीर मुद्दे पर भारत के साथ तनावपूर्ण संबंधों के मद्देनजर इस योजना को लेकर विपक्ष की आलोचना के बीच वह सरकार भारत से खाद्य पदार्थों के आयात पर गठबंधन सहयोगियों और प्रमुख अंशधारकों से परामर्श करेंगे।
बृहस्पतिवार को फैसलाबाद चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के अध्यक्ष आतिफ मुनीर ने सरकार से सब्जियों की आपूर्ति श्रृंखला को बनाए रखने के लिए त्वरित कार्रवाई करने का अनुरोध किया।
उन्होंने कहा, ‘‘परिवहन शुल्क को कम करने के लिए पड़ोसी देशों के साथ व्यापार, विशेष रूप से भारत के साथ व्यापार करना महत्वपूर्ण है और इससे यहां उपभोक्ताओं को सस्तर दरों पर सब्जियां और फल उपलब्ध कराने में मदद मिलेगी।’’
लाहौर मार्केट कमेटी के सचिव शहजाद चीमा ने कहा कि सरकार को भारत से सब्जियां और फल आयात करने का फैसला करना चाहिए क्योंकि यहां के उपभोक्ताओं को राहत देना समय की मांग है।
उन्होंने कहा कि ताफ्तान सीमा (बलूचिस्तान) के जरिये ईरान से सब्जियों का आयात व्यवहार्य नहीं है क्योंकि ईरानी सरकार ने इसके आयात और निर्यात पर कर बढ़ा दिया था।
तहरीक-ए-इस्ताकलाल के अध्यक्ष रहमत खान वरदाग ने भी पाकिस्तान के नागरिकों के लाभ के लिए भारत के साथ खुले व्यापार की वकालत की है।
इस वरिष्ठ राजनेता ने बृहस्पतिवार को एक बयान में कहा, ‘‘सरकार को उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए सभी तरीकों का इस्तेमाल करना चाहिए क्योंकि टमाटर और प्याज की कीमतें व्यापार मार्ग 400 रुपये प्रति किलो को पार कर गई हैं। सब्जियों और फलों की आपूर्ति कम से कम समय में भारत जैसे पड़ोसी देशों से ही संभव है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘चूंकि सरकार पहले ही ईरान और अफगान सीमाओं को खोलने का फैसला कर चुकी है, इसलिए उसे सब्जियों की कीमतों में तुरंत कमी लाने के लिए भारत से रसोई के उपयोग वाले सामान आयात करने के लिए वाघा सीमा खोलने की भी अनुमति देनी चाहिए।’’
वित्त मंत्री इस्माइल ने बुधवार को कहा कि एक से अधिक अंतरराष्ट्रीय एजेंसी ने वाघा की भूमि सीमा के माध्यम से उन्हें भारत से खाद्य सामग्री लाने की अनुमति देने के लिए सरकार से संपर्क किया है।
उन्होंने कहा, ‘‘सरकार अपने गठबंधन सहयोगियों और प्रमुख अंशधारकों से परामर्श करने के बाद आपूर्ति की कमी की स्थिति के आधार पर आयात की अनुमति देने या न करने का निर्णय लेगी।’’
नौ-दलीय गठबंधन सरकार वर्तमान में बाढ़ से प्रभावित लाखों लोगों की पीड़ा को कम करने के लिए भारत से सब्जियों के आयात की अनुमति सहित सभी विकल्पों पर विचार कर रही है।
पाकिस्तान पहले ही भारत के साथ दवा उत्पादों और सर्जिकल उपकरणों के व्यापार की अनुमति दे चुका है।